जिला- सारंगढ़ बिलाईगढ़

चक्रवाती तूफान  दाना का असर – हल्की बारिश के साथ हवाएं चली, किसानों की चिंता बढी

चक्रवाती तूफान  दाना का असर - हल्की बारिश के साथ हवाएं चली, किसानों की चिंता बढी

चक्रवाती तूफान  दाना का असर – हल्की बारिश के साथ हवाएं चली, किसानों की
चिंता बढी

 

हर साल खरीफ सीजन की खेती के दौरान कोई न कोई साइक्लोन आ ही जाता है। इससे धान फसलों को नुकसान पहुंचता है। ठीक धान पकने के पहले ऐसा ही तूफान से छोटे बड़े धान के पौधों को गिरा देता है। अब जबकि दाना तूफान का असर छोटे धान के लिए नुकसान तो बड़े किस्म की सरना के लिए फायदेमंद होगा। ज्यादातर बड़े धान की फसलों में सिंचाई की आवश्यकता हो रही थी।

साल्हेओना,
ओडिशा व पश्चिम बंगाल के तटों से टकराने वाला चक्रवाती तूफान दाना का असर गुरुवार सुबह से दिखने लगा। तूफान के चलते सुबह को बादल छाए रहे और हल्की बारिश की बौछारें पडी। इससे मौसम का मिजाज बिगड़ गया है और ठंडी हवाएं चल रही है। दोपहर 1 बजे के बाद बादलों की ओट में सूर्य देव नजर नहीं आए।इससे तापमान में गिरावट आ गया है। मध्य बंगाल की खाड़ी में स्थित चक्रवाती तूफान दाना का प्रभाव प्रदेश में अगले दो दिन हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना जताई गई है। उसके पहले गुरुवार सुबह 7 बजे के आसपास बादल छाए और बूंदाबांदी शुरु हुई जो कुछ देर तक हल्की बौछारों में बदल गई ।

जबकि चक्रवाती तूफान दाना ओडिशा व पश्चिम बंगाल के तटों में टकराने के पूर्व इसका असर दिखने लगा है और मौसम में बदलाव आ गया है। 11 बजे से धूप निकलने के साथ साथ हवाएं चलने लगी। वही दोपहर एक 1 बजे पुनः बादल आ गए और 3 बजे बिना गरज चमक के साथ बौछार पडने लगी। इससे किसानों की चिंता बढ़ गई है। क्योंकि अर्ली वेरायटी की धान फसल पकने के कगार पर है। दीपावली त्योहार के बाद कटाई की तैयारी है और कुछ किसानों ने धान की कटाई में लगे हुए है। ऐसे में चक्रवाती तूफान दाना का असर से कहीं तेज बारिश के साथ हवाएं चलने से पक चुके धान पौधे गिर जाएंगे। अगले दो दिन में तूफान को लेकर किसानों की चिंता सताने लगी है।

आठ जिलों के लिए यलो अलर्ट मौसम विभाग द्वारा प्रदेश के 8 जिलों के लिए यलो अलर्ट जारी किया है। जिसमें सारंगढ़ – बिलाईगढ भी शामिल है। इसके अलावा रायगढ़, सक्ती, जशपुर, सूरजपुर, बलरामपुर, महासमुंद व गरियाबंद जिले में भी चक्रवाती तूफान दाना का प्रभाव रहेगा। अगले दो दिन कहीं हल्की बौछारें तो कहीं मध्यम बारिश होगी। वही 40 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलने की
बात कही है।

धान की पौधे गिरने की शिकायत

साल्हेओना क्षेत्र में साठिया, एचएमटी, सिल्की, कम अवधि में पकने वाले हाईब्रीड किस्म के धान की फसल पकने की अंतिम चरण में है। बारिश की बूंदों से पौधों में वजन बढ़ने से खेतों में फसल गिरने की शिकायत है। गणेश राम पटेल का साठिया, जगत राम पटेल का एचएमटी, बिहारी सिदार, बजरंग सिदार का सिल्की धान के पौधों में तूफान दाना का असर पड़ता हुआ  दिख रहा है। इन किसानों के धान फसल कुछ मात्रा में गिर गए है।

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