
15 वें वित्त की राशि नही मिलने से पंचायतों की परेशानी बढ़ी
बरमकेला,
सारंगढ़-बिलाईगढ जिला को अस्तित्व में आए चार माह बीत गया। लेकिन प्रशासनिक व्यवस्था सुदृढ़ नहीं हो पाई है। इन दिनों अलग से जिला पंचायत का गठन नहीं होने से क्षेत्र के ग्राम पंचायतों को सरकार से मिलने वाली 15 वां वित्त योजना की राशि नहीं मिल पा रही है। इससे पंचायत पदाधिकारियों की परेशानी बढ़ गई है।
बरमकेला क्षेत्र के ग्राम पंचायतों में 15 वां वित्त योजना की राशि नहीं आ रही है। इसके पीछे तर्क यह दिया जा रहा है कि नये जिले की गठन के पश्चात् अब तक अलग से जिला पंचायत नहीं बन पाया है और न ही कोई वैकल्पिक व्यवस्था की गई है। इस वजह से ग्राम पंचायतों के स्वच्छता व पेयजल से जुड़े व्यवस्था गड़बड़ा गई हैं। इसी को लेकर सरपंच व पंचायत सचिवों को मुश्किलें बढ़ गई है।
बताया जाता है कि पिछले दो महीने से 15 वां वित्त योजना की भुगतान नहीं हो पाया है। जनपद पंचायत बरमकेला के अधिकारियों द्वारा आज कल इसकी राशि आने का आश्वासन दिया जा रहा है लेकिन राशि नहीं मिलने के चलते पंचायत पदाधिकारियों को यहां वहां का चक्कर काटने पड़ रहे हैं। 15 वां वित्त योजना की राशि से गांव में पेयजल व स्वच्छता पर खर्च की जाती है। चूंकि इस क्षेत्र के ज्यादातर पंचायतों में पेयजल की व्यवस्था मोटर पंप से होती है। इसके लिए आपरेटर से लेकर बिगड़े मोटर पंप आदि सुधार की भुगतान की जाती है। यहां तक कि आवश्यकता अनुसार गांवों के सार्वजनिक जगहों की साफ सफाई व समतलीकरण वगैरह का खर्च इसी मद से होते हैं। किंतु राशि के अभाव में इन सारे कार्य प्रभावित होने लगें हैं। अब जबकि कुछ महीनों के बाद गरमी आने वाली है। ऐसे में पेयजल व्यवस्था के लिए सबसे ज्यादा जरुरत इसी मद से खर्च होंगे। साथ ही गांवों में सार्वजनिक व धार्मिक कार्यक्रम भी आयोजित होंगे इसके लिए भी सार्वजनिक जगहों की सफाई कराई जाएगी। पंचायत पदाधिकारियों का कहना है कि इन सारे ऐजेण्डा को लेकर तैयारियां की जा रही है और पिछले कई माह का भी भुगतान नहीं हो पाया है। ऐसे में 15 वां वित्त की राशि की जरूरत पड़ रही है। परंतु अलग से जिला पंचायत नहीं होने से अधिकारी का डीएसी नहीं होने से भुगतान अटका हुआ है। सीसी रोड़, नाली व पचरी निर्माण कार्य भी रुके हुए है।